Allah Bahut hi Gairat wala hai.
Insan aur Muashare Par Gunahon ke Muhallik asraat. (Part 02)
इन्सान और मुआशरे पर गुनाहों के मुहलिक असरात
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*ख़ुतबाते हरम* (2)
अल्लाह के रसूल सल्ल० ने फ़रमाया: *"बेशक अल्लाह को भी ग़ैरत आती है और अल्लाह को ग़ैरत उस वक़्त आती है जब कोई मोमिन अल्लाह की हरामकर्दा चीज़ों का इर्तिकाब करे।"* (सही बुख़ारी: 5223, व सही मुस्लीमः 2761 )
किसी शाइर ने क्या खूब कहा है: "मैने देखा कि गुनाह दिलों को मुर्दा कर देते हैं और आदमी को हमेशा की ज़िल्लत में मुब्तला कर देते हैं, तर्के मआसी में दिलों की ज़िन्दगी है, तुम्हारे लिए नफ़्स की सरकशी ख़त्म करने में भलाई है।"
अज़ीज़ भाईयों! गुनाहों का अफ़राद और क़ौमों की ज़िन्दगी पर गहरा असर मुरत्तब होता है, इमाम इब्ने क़य्यिम र० अ० ने फ़रमाया: "मआसी और गुनाहों का इन्सानी जिस्म पर वैसा ही असर होता है जिस तरह कोई ज़हर उसे नुक़सान पहुँचाता है। दुनिया और आख़िरत की बरबादी गुनाहों से आलूदगी के बाइस है। क्या आपने ग़ौर किया कि हमारे जद्दे अमजद को जन्नत से क्यों निकाला गया? क्या आपने सोचा कि इबलिस क्यों रान्दए दरबारे इलाही हुआ? किस सबब से वह मूजिबे लअनत ठहरा? और क्यों उस पर हमेशगी की ज़िल्लत तारी कर दी गई? जन्नत से उठा कर जहन्नम में क्यों झोंक दिया गया? साबिक़ा अक़्वाम की तबाही क्योंकर हुई? क़ौम आद पर आँधियों का अज़ाब क्यों मुसल्लत हुआ? जिसकी वजह से यह तन्दुरुस्त व तवाना क़ौम कटे हुए दरख़्त के तनों की तरह पड़ी रही? क़ौमे समूद के कलेजे क्यों फट गये? क़ौमे लूत की बस्तियों को क्यों तलपट कर दिया गया? क्यों उन पर आसमान से पत्थर बरसाए गए? क़ौमे शुऐब को क्यों साएबान के हैबतनाक अज़ाब में मुब्तला किया गया? उन पर दहकते हुए अंगारों की बारीश क्यों बरसाई गई? फ़िरऔनियों को किस वजह से ग़र्क़ किया गया? और क्यों उनको जहन्नम में फैंका गया? क़ारुन को उसकी दौलत समेत ज़मीन में क्यों धँसा दिया गया? क़ौमे नूह के बाद मुख़्तलिफ़ क़ौमों को मुख़्तलिफ़ अज़ाबों में क्यों मुब्तला किया गया?"
( यह तर्जुमा अब्दुल्लाह बिन मुबारक रह० से मन्सूब अशआर का है, अलजवाबुल काफ़ी लिइब्ने क़य्यिमः स०84, व शरहुल अक़ीदतुत्तहाविया:स०235)*
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